आज असाच रिकामा बसुन होतो म्हटले चला बघूया हिंदी ब्लॉग विश्वात काय चाललय. तर खालील ब्लॉग सहजच हाती लागला. वाचल्यावर विश्वासच बसेना कि असेही काही असु शकते. माझतर डोकच चालेना, म्हटल चला आपल्या वाचकांना विचारुन बघूया त्यांना काय वाटतय. तर हा हिंदी ब्लॉग वाचल्यावर सांगा तुम्हाला काय वाटतय.
आपल्याला हिंदी कळत नसेल तर याच भाषांतर मी लगेच पोस्ट करायच्या विचारात आहे थोडी वाट बघायला लागेल इतकच.
हिंदी ब्लॉगची लिंक : http://mahashaktigroup.bharatuday.in/2009/10/blog-post_08.html
आज की कांग्रेस इतनी गिर चुकी है
अभी पिछले दिनों आँध्रप्रदेश के मुख्यमंत्री y s रेड्डी की मौत विमान दुर्घटना में हो गई.सभी चेनल्स में कहा गया की उनकी मौत के दुख में 462 लोगो ने आत्महत्या कर ली""आश्चर्य होता है न आज के समय में किसी नेता के लिए इतना प्यार देखकर!!! लेकिन बाद में मालूम पड़ा की ये प्यार नेता के लिए नहीं बल्कि पैसे के लिए था मतलब की कांग्रेस सरकार ने देश को जितने भी लोगो को खुदख़ुशी करने वालों में गिनाया था वो सभी खुदखुशी के कारण नहीं बल्कि अपनी स्वाभाविक मौत मरे थे"जी हां एक सनसनीखेज़ खुलासे में ये बात सामने आई है की मरने वाले लोगो के घर वालो को सरकार ने 5000-5000 Rs. दिए थे और बदले में उनलोगों को ये बोलना था की "मरने वाला आदमी अपनी स्वाभाविक मौत नहीं मरा बल्कि उसने मुख्यमंत्री के गम में आत्महत्या की है."शर्म आती है ये बाते सुन-सुन कर की आज की कांग्रेस इतनी गिर चुकी है की लोगो की मौत पर भी राजनीति करने लगीकाश ये पैसा उन लोगो को मरने से पहले दिया जाता तो शायद वो जी जाते और सच्चे मन से श्रधांजलि देते…अगर आप मानते है कि ये बात देश में सभी को मालुम होनी चाहिए तो इसे अपने सभी दोस्तों तक पहुचाहिये"